pal do pal me kya ho jaye lyrics पल दो पल में क्या हो जाये
पल दो पल में क्या हो जाये मानव तेरे शरीर का
कुछ पता नही तकदीर का
हरिशचन्द्र से राजादानी, सत पै बिकगये तीनो प्राणी
घड़ा उठाते सवने देखा, गंगा जी के नीर का
कुछ पता नही तकदीर का…
मोरध्वज से राजा ग्यानी, सुत को चीरें दोनो प्राणी
आरा चलाते सवने देखा, अपने जिगर की पीर का
कुछ पता नही तकदीर का..
राजा दसरथ के चार पुत्र भये, राम लखन सिया वन को गये
वन को जाते सवने देखा वल्कल भेषरघुवीर का
कुछ पता नही तकदीर का..
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