विद्यां ददाति विनयं श्लोकार्थ- vidya dadati vinayam shlok sanskrit hindi arth sahit

विद्यां ददाति विनयं श्लोकार्थ- vidya dadati vinayam shlok sanskrit hindi arth sahit

विद्यां ददाति विनयं श्लोक-
विद्यां ददाति विनयं श्लोकार्थ- vidya dadati vinayam shlok sanskrit hindi arth sahit
विद्यां ददाति विनयं विनयाद् याति पात्रताम् ।
पात्रत्वात् धनमाप्नोति धनात् धर्मं ततः सुखम् ॥
विद्यां ददाति विनयं श्लोकार्थ-
विद्या यानि ज्ञान हमें विनम्रता प्रादान करता है, विनम्रता से योग्यता आती है और योग्यता से हमें धन प्राप्त होता है जिससे हम धर्म के कार्य करते हैं और हमे सुख सुख मिलता है|

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